यह है गुदगुदी का विज्ञान
गर्दन पर या कमर पर कोई छुए तो गुदगुदी क्यों होती है? और क्या बच्चों को वाकई बड़ों से ज्यादा गुदगुदी होती है? जानिए, क्या है गुदगुदी का विज्ञान.
गुदगुदी की जरूरत
सिहरन की शुरुआत और शरीर को उसकी जरूरत पर इस समय शोधकर्ताओं के बीच विवाद चल रहा है.
कीड़ों की पहचान!
एक राय है कि संवेदनशीलता शरीर पर कीड़ों को पहचानने के लिए है ताकि काटने से पहले उन्हें हटा सकें.
जवाब देता है शरीर
शायद यह हमें प्रतिक्रिया के लिए भी तैयार करता है. कोई गुदगुदी करे तो इंसान तुरंत प्रतिवाद करता है.
हथियार है गुदगुदी
पेट के आस पास या बगल की कुछ ज्यादा गुदगुदाने वाली जगहें संवेदनशील अंगों की रक्षा के लिए होती हैं.
सिरहन और गुदगुदी में फर्क
किसी के हल्के से छूने या सहलाने पर होने वाली सिहरन और गुदगुदी के बीच का अंतर बहुत थोड़ा होता है.
कामुकता
शरीर में गुदगुदी वाली जगहें अक्सर कामुकता पैदा करने वाली भी होती हैं. कुल लोग इससे कामुक हो जाते हैं.
उम्र का असर
जिनके साथी गुदगुदी होने का फायदा उठाते हैं उनके लिए अच्छी खबर ये है कि उम्र बढ़ने के साथ गुदगुदी कम होती जाती है.
गोरिल्ला भी करते हैं
ऐसा नहीं है कि गुदगुदी करने का काम सिर्फ इंसान ही करते हैं. देखा गया है कि गोरिल्ला और चिंपांजी भी ऐसा करते हैं.