प्लास्टिक को विघटित होने में सैंकड़ों साल लग जाते हैं, लेकिन ये कभी भी पूरी तरह से गायब नहीं होगा. इसका नतीजा होगा माइक्रोप्लास्टिक- प्लास्टिक के इतने छोटे कण जिन्हें आप नंगी आंखों से नहीं देख सकते और वो पर्यावरण को खूब नुकसान पहुंचाते हैं. कैसा होता अगर इस्तेमाल के बाद हम उसे गला भी सकते. वैज्ञानिकों को प्रकृति में ही इसका उपाय मिला है.