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चुनावी धांधली के ट्रंप के आरोप "बेबुनियाद"

६ नवम्बर २०२०

अंतरराष्ट्रीय चुनाव पर्यवेक्षकों के मिशन ने अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के इन दावों को बेबुनियाद बताया है कि अमेरिकी चुनावों में धांधली हुई है. उनका कहना है कि ऐसे दावों को साबित करने के लिए कोई सबूत नहीं हैं.

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US Wahl 2020 Donald Trump
वोटो की गिनती में ट्रंप पिछड़ रहे हैंतस्वीर: Chris Kleponis/UPI Photo/imago images

अमेरिका में जारी वोटों की गिनती में रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडेन से पिछड़ रहे हैं. ऐसे में, ट्रंप की तरफ से चुनावी धांधली के आरोप लगाए जा रहे हैं. लेकिन अंतरराष्ट्रीय चुनाव पर्यवेक्षकों का कहना है कि इन दावों को साबित करने के कोई प्रमाण नहीं हैं.

यूरोपीय सुरक्षा और सहयोग संगठन (ओएससीई) का कहना है कि ट्रंप के बयान आधारहीन हैं और लोकतंत्र में भरोसे को कमजोर करते हैं. ओएससीई पर्यवेक्षक मिशन के विशेष समन्वयक मिशेल जॉर्ज लिंक ने एक बयान में कहा, "व्यवस्थागत खामियों को लेकर मौजूदा राष्ट्रपति समेत नेताओं के बयान लोकतांत्रिक संस्थानों में लोगों के भरोसे को नुकसान पहुंचाते हैं."

ट्रंप ने बिना सबूत बार बार कहा है कि चुनावी व्यवस्था ऐसी है जिसमें आसानी से धांधली हो सके. लिंक कहते हैं, "किसी भी व्यक्ति को, ना किसी राजनेता को और ना ही किसी निर्वाचित अधिकारी को लोगों के वोट देने के अधिकार को सीमित करना चाहिए."

लिंक ने मिशिगन और पेंसिल्वेनिया जैसे अहम राज्यों में वोटों की गिनती रोकने के लिए दायर किए गए मुकदमों की तरफ इशारा करते हुए कहा, "इतने जोरदार चुनाव प्रचार के बाद, सरकार के सभी विभागों का यह बुनियादी दायित्व है कि हर एक वोट को गिना जाए."

US Wahl 2020 Spannungen und Proteste
तस्वीर: Steve Marcus/REUTERS

ओएससीई ने 39 देशों से 102 प्रतिनिधियों को अमेरिकी चुनाव की निगरानी के लिए भेजा था. यह मिशन वोटों की गिनती पूरी होने तक अमेरिका में रहेगा.

बुधवार को ओएससीई की शुरुआती रिपोर्ट में पर्यवेक्षकों ने चेतावनी दी कि जिस तरह के बयान चुनाव प्रचार में राष्ट्रपति ट्रंप ने दिए, "बहुत से लोगों को लगा कि उससे चुनाव के बाद राजनीतिक हिंसा भड़क सकती है." रिपोर्ट में कहा गया कि ट्रंप के बयानों से इशारा मिलता है कि वे "सत्ता का शांतिपूर्ण हस्तांतरण नहीं करना चाहते. मौजूदा राष्ट्रपति की तरफ से ऐसे बयान सरकारी संस्थानों में लोगों के विश्वास को कमजोर करते हैं."

ओएससीई की उर्सुला गासेक ने बताया कि पर्यवेक्षक मिशन ने कहा कि धांधली के कोई प्रमाण नहीं मिले, जिनका दावा राष्ट्रपति ट्रंप करते रहे हैं. उन्होंने डीडब्ल्यू के साथ बातचीत में कहा, "मुझे पेंसिल्वेनिया में ऐसी एक भी घटना नहीं दिखी है. ऐसा कुछ नहीं दिखा, जिसे व्यवस्थागत गड़बड़ी कहा जाए."

रिपोर्ट: जेसी विनगार्ड, जेम्स फ्रेनी

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