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अन्ना और रामदेव की यूपीए को ललकार

३ जून २०१२

समाजसेवी अन्ना हजारे और योग गुरु बाबा रामदेव ने भ्रष्टाचार के मुद्दे पर फिर सरकार पर हमला बोल दिया है. दिल्ली में दोनों साथ खड़े हुए. रामदेव ने कहा, "प्रधानमंत्री ईमानदार है लेकिन केंद्रीय मंत्रिमंडल भ्रष्ट है."

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तस्वीर: dapd

नई दिल्ली में रविवार को अन्ना हजारे और बाबा रामदेव की मुलाकात हुई. दोनों ने राजघाट जाकर महात्मा गांधी की समाधि को श्रद्धाजंलि दी. इसके बाद दोनों शहीदी पार्क रवाना हुए. भ्रष्टाचार के मुद्दे पर सरकार पर जोरदार वार करते हुए अन्ना और रामदेव ने एक दिन के उपवास का एलान किया.

जंतर मंतर पहुंचने के बाद बाबा रामदेव ने जनता को संबोधित करते हुए कहा, "प्रधानमंत्री भ्रष्टाचार के खिलाफ कदम उठाने से पहले अपने मंत्रिमंडल को भ्रष्टाचार मुक्त करना चाहिए." सिर्फ एक दिन के अनशन को नियंत्रण में रखने के लिए ही दिल्ली पुलिस के सैकड़ों जवानों और अधिकारियों के अलावा अर्धसैनिक बलों की 20 कंपनियां तैनात की गईं.

Baba Ramdev
तस्वीर: AP

कोयला आवंटन घोटाले का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा, "मनमोहन सिंह को अवैध खनन पर बयान देने के लिए मजबूर किया गया. हम सब जानते है कि प्रधानमंत्री ईमानदार हैं और हम उनकी कद्र करते हैं. लेकिन लोग उनसे उम्मीद करते हैं कि वह भ्रष्टाचार मुक्त मंत्रिमंडल बनाएंगे."

आंदोलन को आजादी की दूसरी लड़ाई बताते हुए योग गुरु ने कहा, "आजादी की पहली लड़ाई 1857 में लड़ी गई और दूसरी आज हम लड़ रहे हैं. हम यह लड़ाई किसी को आहत करने के लिए नहीं लड़ रहे हैं. हम काले धन को वापस लाना चाहते हैं. मैं देश के लोगों से अपील करता हूं कि वह इस लड़ाई से जुड़ें. आज से काले धन को वापस लाने के मुद्दे पर हम अपना विरोध और तेज कर रहे है. हम अगस्त तक चलने वाली इस लड़ाई में देशवासियों को भाग लेते हुए देखना चाहते हैं."

नक्सलवाद के मुद्दे पर भी उन्होंने केंद्र सरकार पर निशाना साधा. नक्सलवाद को सरकार की नाकामी बताते हुए कहा, "मैं नक्सलियों का समर्थन नहीं करता हूं लेकिन उनकी लड़ाई वैध है, उनकी मांगे सही हैं."

रविवार के अनशन में अन्ना हजारे और रामदेव के साथ अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसौदिया और किरण बेदी भी थे. समाजसेवी मेधा पाटकर, पूर्व जज संतोष हेगड़े और वरिष्ठ प्रशांत भूषण नहीं दिखाई पड़े. ये तीनों टीम अन्ना के सदस्य हैं.

3 जून 2011 की ही रात दिल्ली के रामलीला मैदान में पुलिस ने रामदेव और उनके समर्थकों पर कार्रवाई की. मध्यरात्रि को पुलिस ने डंडे के जोर पर रामदेव के अनशन और आंदोलन को भंग कर दिया. पुलिस पर महिलाओं की पिटाई करने के आरोप लगे. रामदेव को रातों रात जबरन हरिद्वार पहुंचा दिया गया और उनके दिल्ली आने पर रोक लगा दी.

पिछले साल अन्ना हजारे और रामदेव साथ आए थे. लेकिन इसकी वजह से टीम अन्ना में दरार की खबरें भी आईं. अब दोनों फिर से एकजुट होकर सरकार का सामना करते दिखाई पड़ रहे हैं. माना जा रहा है कि भारतीय सेना के पूर्व अध्यक्ष जनरल वीके सिंह भी भ्रष्टाचार के खिलाफ खड़े होते आंदोलन में अहम भूमिका निभा सकते हैं.

इन परिस्थितियों के बीच सोमवार को यूपीए की सबसे बड़ी पार्टी कांग्रेस की सोमवार को बैठक हो रही है. 2014 में होने वाले लोकसभा चुनावों से ठीक दो साल पहले अब कांग्रेस कार्य समिति को सरकार की छवि दुरुस्त करने की जरूरत महसूस हो रही है.

ओएसजे/एमजी (पीटीआई, एपी)