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अकेले चुनाव लड़ेंगी मायावती

कुलदीप कुमार, नई दिल्ली१५ मार्च २००९

तीसरे मोर्चे में शामिल होने के बावजूद बहुजन समाज पार्टी यानी बीएसपी अपने सहयोगी दलों के साथ लोकसभा चुनाव के लिए सीटों का तालमेल नहीं करेगी और अकेले ही चुनाव लड़ेगी.

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तीसरे मोर्चे में मायावती भीतस्वीर: AP

पार्टी अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री मायावती ने नई दिल्ली में एक संवाददाता सम्मेलन में यह चौंकाने वाली घोषणा की. मायावाती ने कहा कि जिन राज्यों में पार्टी का संगठन खड़ा हो गया है और जहां उसका जनाधार बढ़ा है, वहां पार्टी अपने उम्मीदवार खड़े करेगी. मायावती ने अपने घर पर तीसरे मोर्चे के नेताओं को भोजन के लिए बुलाया है और अटकलें लगाई जा रही हैं कि डिनर के वक्त प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के बारे में चर्चा की जायेगी.

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लेफ़्ट भी है थर्ड फ्रंट मेंतस्वीर: AP

लेकिन मायावती ने इन सब अटकलों को खारिज कर दिया. उन्होंने कहा कि इस डिनर का तीसरे मोर्चे की रणनीति तय करने या प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार चुनने से कोई सम्बन्ध नहीं है. मायावती ने कहा कि इन सब मुद्दों पर चुनाव के नतीजे आने के बाद ही विचार किया जायेगा. लेकिन इस बारे में ज़रूर चर्चा की जायेगी कि यूपीए और एनडीए को सत्ता में आने से कैसे रोका जाए.

यह बात कोई दबी-छुपी नहीं है कि मायावती प्रधानमंत्री पद की प्रबल उम्मीदवार हैं. लेकिन फिलहाल उनकी रणनीति यह लगती है कि अपने अकेले के बलबूते पर लोकसभा चुनाव में अधिक से अधिक सीट जीत कर पहले अपना दावा पक्का किया जाए जिससे उसका आसानी से विरोध न किया जा सके.

इसी बीच रिपब्लिकन पार्टी ऑफ़ इंडिया के सांसद रामदास अठावले और इंडियन जस्टिस पार्टी के अध्यक्ष उदित राज ने दलित प्रधानमंत्री की चर्चा छेड़ डी है और इसके लिए केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान का नाम पेश किया है. उदित राज का कहना है कि सभी दृष्टि से पासवान मायावती से बेहतर प्रधानमंत्री होंगे. उनका मानना है कि अमेरिका में बराक ओबामा के चुने जाने का कुछ असर भारत की राजनीति पर भी पड़ेगा.