73 हजार साल पुराने पत्थर पर मिला "हैशटेग"
१३ सितम्बर २०१८दक्षिण अफ्रीका के दक्षिणी तट के पास स्थित बोलमबोस गुफा में वैज्ञानिकों को रेखाचित्र से सजा एक पत्थर मिला है. इस पत्थर पर उभरी रेखाएं एक दूसरे को काट रही हैं. यह रेखाएं हैशटेग की तरह दिखती हैं. वैज्ञानिकों का अनुमान है कि यह पत्थर तकरीबन 73 हजार साल पुराना है. वैज्ञानिक इसे चित्रकला का पहला नमूना कह रहे हैं.
यह भी कयास लग रहे हैं कि हिंद महासागर की तरफ आने वाले शिकारी कभी-कभार इस गुफा में ठहरते होंगे और तभी यह आकृति बनाई गई होगी. रिसर्चर मान रहे हैं कि यह दिमागी कौशल का एक उदाहरण है जो मध्यपाषाण युग की मानव जाति में दिखता है.
साइंस पत्रिका "नेचर" में छपी इस स्टडी में नॉर्वे की यूनिवर्सिटी ऑफ बेर्गन के पुरातत्वविद और इस रिसर्च में प्रमुख क्रिस्टोफर हेन्शिलवुड के मुताबिक, "इन टेढ़ी-मेढ़ी रेखाओं को देखकर ऐसा लग रहा है कि असल पैटर्न आकार में बड़ा होगा और उसे बड़े भाग पर बनाया गया होगा.
संभव है कि पूरा पैटर्न बेहद जटिल रहा होगा. हेन्शिलवुड कहते हैं, "हम इसे तुरंत कला नहीं कहेंगे. निश्चित रूप से यह एक ऐसी डिजाइन है जिसका बनाने वाले के लिए जरूर कोई अर्थ रहा होगा, संभवत: यह समूह के और लोगों की समझ में आने वाला कोई सामान्य प्रतीक बन गया होगा."
इसके पहले भी पुरातत्वविदों को दुनिया के कई हिस्सों में पुरानी नक्काशी के नमूने मिले हैं. जावा द्वीप पर पुरातत्वविदों को तकरीबन 5 लाख साल पुरानी नक्काशी के नमूने मिले थे. "हैशटेग" की तरह दिखने वाली इस डिजाइन को अब तक की सबसे पुरानी चित्रकारी माना जा रहा है. यह दिखाता है कि मध्यपाषाण काल का इंसान चिन्ह और निशानियां बनाने के लिए अलग-अलग सतहों पर अलग-अलग तकनीक का प्रयोग करते होंगे.
एए/एनआर (एपी, रॉयटर्स)
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