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यहूदी के रूप में जन्मे ईसा मसीह की कर्मभूमि आज का इस्राएल थी. वे बेथलेहम में पैदा हुए और गलील झील पर रहते थे. उन्हें येरूशलेम के पास कलवारी में सूली पर चढ़ाया गया, दफन किया गया और कहते हैं कि वहीं पर वे फिर जिंदा हो गए.
कानून की परवाह नहीं करने वाला यह नायक अमीरों की संपत्ति लूट कर गरीबों में बांटने के लिए विख्यात था. फिल्मों, किताबों और किस्से कहानियों में जिसका बार बार जिक्र हुआ, क्या वह सचमुच कोई इंसान था या कोरी कल्पना?
येरुशलम इन दिनों एक ऐतिहासिक पल का गवाह बन रहा है. दो सौ साल बाद उस जगह को फिर से खोला गया है जिसे ईसा मसीह का मकबरा कहा जा जाता है.
भारत में सड़क किनारे बस्ता लिए बैठे इलाज करने वालों का चलन आम है. हालांकि शहरों में हाइजीन पर ज्यादा ध्यान दिया जाता है, लेकिन इलाज महंगे होते हैं. इसलिए फिलहाल भारत में इन डेंटिस्टों पर निर्भर करने वालों की कमी नहीं.