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हिंदी-चीनी हॉटलाइन

७ अप्रैल २०१०

भारत और चीन के बीच राजनैतिक संबंधों की 60वीं वर्षगांठ पर दोनों देशों ने अपने रिश्तों को एक नया मो़ड़ देने का फैसला किया है. दोनों देशों के प्रधानमंत्री करेंगे एक दूसरे से हॉटलाइन पर बात.

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भारत और चीन के बीच हॉटलाइनतस्वीर: AP

चीन दौरे पर गए भारतीय विदेश मंत्री एस.एम कृष्णा ने अपने चीनी समकक्ष यांग जीची के साथ दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों के बीच हॉटलाइन स्थापित करने के समझौते पर हस्ताक्षर किए. यह समझौता दोनों देशों के विदेश मंत्रियों के पहले दौर की वार्ता के बाद किया गया.

Besuch in China Manmohan Singh Wen Jiabao
मनमोहन सिंह और वेन चियापाओतस्वीर: AP

इस समझौते के मुताबिक यह विशेष फोन लाइन दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों के दफ्तरों से जुड़ेगी. इस सेवा के शुरू होने के बाद दोनों देशों के प्रधानमंत्री किसी भी समय एक दूसरे से सीधी बातचीत कर सकेंगे.

हाल के सालों में यह पहली बार भारत ने किसी देश के साथ उच्चतम राजनीतिक स्तर पर हॉटलाइन सुविधा शुरू की है. दरअसल दोनों देशों के बीच हॉटलाइन सेवा शुरू करने का फैसला पिछले साल जून में ही ले लिया गया था. उस समय प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह रूसी शहर येकातरिनबर्ग में चीनी राष्ट्रपति हू जिंताओ से वार्ता के लिए मिले थे. दोनों देशों के प्रधानमंत्रिओं के बीच इस हॉटलाइन संपर्क का मुख्‍य उद्देश्‍य दोनों देशों के बीच चल रहे मनमुटाव माहौल को बेहतर बनाना है.

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भारत और चीन की सीमा पर विवाद हैतस्वीर: picture-alliance/ dpa

दोनों विदेश मंत्रियों के बीच एक घंटे से ज्यादा तक चली मुलाकात के बाद कृष्णा ने कहा कि हॉटलाइन सुविधा की शुरूआत दोनों देशों के बीच करीबी संबंधों को प्रदर्शित करती है. हाल के दिनों में कश्मीरी नागरिकों को पासपोर्ट के बदले एक अलग कागज पर वीजा़ देने, अरुणाचल प्रदेश पर चीन के दावों और सीमा के अतिक्रमण जैसे मुद्दों की वजह से भारत चीन के रिश्तों में तनातनी रही है. उम्मीद जताई जा रही है कि इस प्रयास के बाद यह मतभेद कम होंगे और दोनों देश व्यापार, शिक्षा और पर्यावरण जैसे सभी क्षेत्र में एक दूसरे से हाथ मिलाकर काम कर सकेंगे.

संवाददाताओं को संबोधित करते हुए एस.एम.कृष्णा ने कहा, "द्विपक्षीय संबंधों को लेकर सभी मुद्दों पर चर्चा की जा चुकी है और मैं उस से संतुष्ट भी हूं. चीन के साथ निरंतर अच्छे संबन्ध बनाये रखना भारत की विदेश नीति की प्राथमिकताओं में से एक है. यह बहुत ख़ुशी की बात है कि हॉटलाइन ऐसे वक़्त पर स्थापित हो रही है जब दोनों देश अपने राजनयिक रिश्तों की 60वीं वर्षगांठ मना रहे हैं."

रिपोर्ट: एजेंसियां/ईशा भाटिया

संपादन: महेश झा