सुंदरबन में तेल रिसाव
भारत और बांग्लादेश के बीच बसा दुनिया का सबसे बड़ा डेल्टा सुंदरबन इस वक्त भारी मुश्किल का सामना कर रहा है. संरक्षित सुंदरबन में तेल टैंकर जहाज डूबने से तेल फैल गया है. सुंदरबन कई दुर्लभ जन्तुओं का बसेरा है.
ऐसे आई आफत
हादसा बांग्लादेश के इलाके में हुआ. अधिकारियों के मुताबिक टैंकर जब डूबा तो उसमें करीब 3,57,000 लीटर तेल लदा था. इसमें से ज्यादातर तेल रिस कर डेल्टा की कई धाराओं में पहुंच गया. गुरुवार को टैंकर को बाहर निकाले जाने तक ज्यादातर तेल रिस चुका था.
दुर्लभ डॉल्फिन
सुंदरबन डेल्टा गंगा नदी की दुर्लभ डॉल्फिनों के लिए मशहूर है. मीठे पानी की इन डॉल्फिनों के लिए सुंदरबन को सबसे महफूज बसेरा माना जाता है. तेल रिसाव की वजह से कई डॉल्फिनें मारी गई हैं.
बाघों का बसेरा
रॉयल बंगाल टाइगर का बसेरा भी सुंदरबन ही हैं. डेल्टा की दलदली जमीन और वहां मौजूद मैनग्रोव के जंगल बंगाल टाइगर को छिपने और शिकार करने के भरपूर मौके देते हैं. बाघ हर दिन तैरते हुए शिकार ढूंढने निकते हैं. रिसाव ने बाघों को संकट में डाल दिया है.
मारे गए मगरमच्छ
तेल रिसाव वाले इलाकों में मछलियों समते कई मगरमच्छ मरे मिल हैं. डेल्टा के बड़े इलाके में मरे हुए मगरमच्छ उल्टे तैरते हुए दिखाई पड़ रहे हैं.
प्रशासन के हाथ पैर फूले
बांग्लादेश के स्थानीय प्रशासन को समझ ही नहीं आ रहा है कि तेल के फैलाव को कैसे रोका जाए. प्रशासन के पास इसके लिए सही इंतजाम भी नहीं है. स्थानीय मछुआरे बाल्टी, स्पंज और जाल की मदद से तेल फैलाव को रोकने की कोशिश कर रहे हैं.
विकराल होती आफत
सुंदरबन से गुजरते हुए गंगा नदी की सैकड़ों धाराएं समुद्र में मिलती हैं. ज्वार और भाटे की वजह से हर दिन यहां पानी का स्तर ऊपर और नीचे होता है. वैज्ञानिकों को आशंका है कि पानी ऊपर चढ़ने की वजह से तेल दूर दूर तक फैलेगा.
कदम उठाए सरकार
बांग्लादेश में संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम की निदेशक पॉउलीन टामेसिस ने तेल रिसाव पर गहरी नाराजगी जताते हुए बांग्लादेश सरकार से सुंदरबन में व्यावसायिक जहाजों की आवाजाही बंद करने की मांग की है. सुंदरबन में मछली मारने पर रोक है, लेकिन नावें और छोटे जहाज वहां से गुजर सकते हैं.