सबसे ज्यादा चाय ये देश उगाते हैं
यूं तो चाय का उद्गम चीन को माना जाता है, लेकिन इस बीच दुनिया के कई देशों में चाय का उत्पादन होता है. औपनिवेशिक शासकों ने इसे न सिर्फ उपनिवेशों में बल्कि दुनिया भर में लोकप्रिय बनाया है.
चीन (2473443 टन)
चीन में चाय पीने का लंबा इतिहास है. कहते हैं कि सम्राट शेनॉन्ग ने 2737 ईसा पूर्व में इसका प्रचलन शुरू किया. अब तो चीन में चाय पेय से लेकर दवा तक में इस्तेमाल होती है और देश की कई सांस्कृतिक रिवाजों का हिस्सा है.
भारत (1325,000 टन)
चाय तो भारत में पहले से होती थी, लेकिन जब अंग्रेजों को चीन से चाय पीने का पता चला तो उन्होंने इसका औद्योगिक चलन शुरू किया. आज भारत में उत्पादित 70 फीसदी चाय की खपचत देश में ही होती है.
केन्या (440,000 टन)
केन्या ऐसा देश है जहां चाय की खेती बड़े बागानों में नहीं बल्कि छोटे खेतों में होती है. करीब साढ़े चार लाख टन का छोटे खेतों में उत्पादन बड़ी बात है. लेकिन केन्या नई उन्नत किस्मों के विकास पर जोर दे रहा है.
श्रीलंका (350,000 टन)
1867 में एक ब्रिटिश किसान ने श्रीलंका के कैंडी में चाय का उत्पादन 19 एकड़ जमीन पर शुरू किया था. इस बीच करीब 2 लाख हेक्टेयर जमीन पर चाय की खेती होती है और यह श्रीलंका के प्रमुख उद्योगों में शामिल है.
वियतनाम (260,000 टन)
जो काम भारत में अंग्रेजों ने किया वह वियतनाम में फ्रेंच लोगों ने किया. 1880 में वहां चाय का उत्पादन शुरू हुआ और पचास साल के अंदर चाय उद्योग इतना बड़ा हो गया कि वियतनाम यूरोप और अफ्रीका को चाय का निर्यात करने लगा.
तुर्की (234,000 टन)
तुर्की में काले सागर के निकट एक छोटे से इलाके राइज में चाय का उत्पादन होता है. हालांकि तुर्की की कॉफी ज्यादा मशहूर है लेकिन वहां चाय भी काफी लोकप्रिय है. तुर्की में मुख्य रूप से काली चाय का उत्पादन होता है.
इंडोनेशिया (140,000 टन)
इंडोनेशिया में चाय औपनिवेशिक शासकों के जरिए आई. डच लोगों ने 1700 के आसापास चाय का उत्पादन शुरू किया लेकिन यह स्थानीय लोगों में इतना लोकप्रिय नहीं है. आज भी इंडोनेशिया की चाय आम तौर पर विदेशों में निर्यात की जाती है.
ईरान (100,000 टन)
ईरान में 15 सदी में व्यापक रूप से कॉफी पी जाती थी. चीन के साथ सिल्क रूट की वजह से ईरानी लोगों को चाय का पता चला और फिर इसका चस्का लगा. 1882 में भारत से लाए गए बीज की मदद से ईरान ने खुद चाय का उत्पादन शुरू किया.