नन्हे वालिद के साथ गजा पट्टी ने हासिल किया नया मुकाम
१४ अक्टूबर २०१६गजा में शासन करने वाली हमास सरकार के गृह मंत्रालय ने एक बयान में कहा, "दक्षिणी गजा पट्टी के रफाह शहर में पैदा होने वाले एक बच्चे वालिद शाथ के साथ ही इस इलाके में रहने वाले फलस्तीनियों की संख्या बीस लाख हो गई है." बयान के मुताबिक शाथ के बाद एक लड़की का जन्म हुआ है और वो गजा की बीस लाख एक वीं व्यक्ति है.
मंत्रालय का कहना है कि सितंबर महीने में गजा पट्टी में 4,983 बच्चों का जन्म हुआ. इस हिसाब से वहां हर दिन 166 बच्चे पैदा हुए यानी हर घंटे सात बच्चे और लगभग हर दस मिनट में एक बच्चा. बयान के मुताबिक सितंबर में गजा में जन्म के बाद मरने वाले बच्चों की संख्या 294 रही यानी हर दिन 10 नवजात शिशुओं की मौत हुई.
देखिए कैसे फलस्तीन बनाने की कोशिश हो रही है
गजा पट्टी 360 वर्ग किलोमीटर का इलाका है और जून 2007 में जब से वहां चरमपंथी गुट हमास की सरकार बनी है, इस्राएल ने उसकी कड़ी नाकेबंदी कर रखी है. हमास ने फलस्तीनी राष्ट्रपति महमूद अब्बास के संगठन फतह के साथ हफ्तों तक चली लड़ाई के बाद गजा पर नियंत्रण हासिल किया और वहां होने वाले चुनावों में कामयाबी हासिल की थी.
अंतरराष्ट्रीय संगठन गजा पट्टी को दुनिया के सबसे सघन आबादी वाले इलाकों में गिना जाता है. वहां रहने वाले ज्यादातर लोग गरीब हैं और शरणार्थी शिविरों में रहते हैं. गजा पट्टी चार बड़े शहरों और 12 से ज्यादा गांव और कस्बों में बंटा है. गजा चैंबर्स ऑफ कॉमर्स के मुताबिक वहां बेरोजगारी की दर बढ़ कर 50 फीसदी हो गई है जबकि इस इलाके की आधी से ज्यादा आबादी गरीबी में दिन काट रही है. अंतरराष्ट्रीय संगठनों का कहना है कि गजा की 80 फीसदी से ज्यादा आबादी अंतरराष्ट्रीय मानवीय सहायता पर गुजारा कर रही है.
एके/एमजे (रॉयटर्स)
देखिए गजा में मरते मासूम