इंजन के सहारे एकतरफा जीत
३१ मार्च २०१४V8 टर्बो चार्ज इंजन कम आवाज करता है, कम तेल पीता है और गाड़ी को ज्यादा तेज भगाता है. मर्सिडीज का इंजन यह सब कुछ बड़े अच्छे ढंग से कर रहा है. अब तक हुई दो रेसों में मर्सिडीज के ड्राइवरों को इसका साफ फायदा मिलता दिखा है. ऑस्ट्रेलिया के बाद बीते रविवार को मलेशिया में हुई रेस में भी मर्सिडीज के ड्राइवर सबसे आगे रहे. लुईस हैमिल्टन पहले ही लैप में बहुत ही आगे निकल गए. उनकी ये बढ़त अंत तक बनी रही. हैमिल्टन ने रेस जीती तो उनके साथी निको रोसबैर्ग दूसरे स्थान पर आए.
बाकी टीमों की गाड़ियों में लगा नया इंजन फिलहाल बहुत बढ़िया ट्यूनिंग के साथ काम नहीं कर रहा है. रेडबुल और फरारी जैसी टीमें इंजन को बेहतर बनाने में जुटी हैं. बीते चार साल से वर्ल्ड चैंपियन बनते आ रहे रेडबुल के जर्मन ड्राइवर सेबास्टियान फेटल ने मलेशियन ग्रां प्री में रोसबैर्ग को ओवरटेक करने की बड़ी कोशिश की लेकिन जब जब वो ऐसा करने लगते मर्सिडीज का इंजन गजब की रेस पकड़ लेता और फेटल को मायूस होना पड़ता. रेस के अंत तक रोसबैर्ग और फेटल का फासला बहुत बड़ा हो गया और रेड बुल ड्राइवर को तीसरे स्थान से संतोष करना पड़ा.
मर्सिडीज के ड्राइवर हैमिल्टन और रोसबैर्ग भी मान रहे हैं कि उनका नया इंजन टीम को बढ़त दिला रहा है. वहीं आलोचकों का कहना है कि इस इंजन से रेसें उबाऊ बन रही हैं. सेबास्टियान फेटल तो नए इंजन के लिए अपशब्द भी कह चुके हैं.
फेटल को शांत करने की कोशिश कर रहे रेडबुल के टीम प्रिंसिपल क्रिस्टियान हॉर्नर ने एक बार फिर कहा है कि उनकी टीम मर्सिडीज की इंजन को जल्द टक्कर देगी. टीम के इंजीनियर पूरी क्षमता से काम कर रहे हैं. कुछ ऐसी ही उम्मीद फरारी के फर्नांडो अलोंसो को भी है. अलोंसो की गाड़ी भी मर्सिडीज जैसी स्पीड पकड़ ही नहीं पा रही है. बहस के बीच अब टीमें 6 अप्रैल को होने वाली बहरीन ग्रां प्री की तैयारियां कर रही हैं. अगर वहां मर्सिडीज की एकतरफा तूती बोली तो ये बहस और गर्म हो जाएगी.
ओएसजे/एमजे (रॉयटर्स, एएफपी)