1. कंटेंट पर जाएं
  2. मेन्यू पर जाएं
  3. डीडब्ल्यू की अन्य साइट देखें

भारत में फरारी ने विवाद छेड़ा

२६ अक्टूबर २०१२

इटली की फॉर्मूला वन टीम फरारी ने भारत में विवाद छेड़ दिया है. फरारी ने इटली की नौसेना का सांकेतिक झंडा अपनी कार पर लगाया. भारतीय अधिकारी इससे नाराज हैं. इटली के विदेश मंत्री ने फरारी को बधाई दी, भारत ने नाराजगी जताई.

https://p.dw.com/p/16Xfy
तस्वीर: Reuters

शुक्रवार को इंडियन ग्रां प्री की अभ्यास रेस के दौरान फरारी ने अपनी कार में इटली की नौसेना का ध्वज लगाया. फरारी की वेबसाइट में कहा गया है, "इसी सप्ताहंत होने वाली इंडियन ग्रां प्री में फर्नांडो अलोंसो और फिलिपे मासा की कारों में स्कूडेरिया फरारी इटैलियन नौसेना का झंडा लगाएगी. ऐसा करने से फरारी अपने देश की एक शानदार संस्था को याद करेगी. उम्मीद है कि भारतीय और इतालवी प्रशासन इटली के दो नौसैनिकों के संबंध में जल्द ही समाधान ढूंढ लेंगे."

इटली के विदेश मंत्री गिउलिओ टेर्जी ने इस फैसले के लिए फरारी की तारीफ की है. सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर पर टेर्जी ने लिखा, "इंडियन जीपी में इटैलियन नौसेना का चिह्न दिखाने के लिए फरारी को बधाई. इससे नौसैनिकों को पता चलेगा कि उनके पीछे पूरा देश है."

इस मुद्दे पर नाराजगी व्यक्त करते हुए भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता सैयद अकबरूद्दीन ने कहा, "खेल आयोजन का इस्तेमाल किसी ऐसे मामले को उठाने के लिए करना जिसका खेल से कोई संबंध ही न हो, खेल भावना नहीं है."

वहीं फॉर्मूला वन प्रमुख बेर्नी एक्लेस्टॉन ने खुद को इस विवाद से दूर रखने की कोशिश की है. उन्होंने कहा कि फॉर्मूला वन कोई राजनीतिक संस्था नहीं है. उनके मुताबिक बेहतर ये होगा कि इंडियन नेशनल मोटरस्पोर्ट्स एसोसिएशन और फेडरेशन ऑफ मोटर स्पोर्ट्स क्लब ऑफ इंडिया इस मामले को सुलझाए. एक्लेस्टॉन ने कहा, "हम क्या करेंगे, हम यहां की नेशनल स्पोर्टिंग अथॉरिटी की ओर देखेंगे. हम राजनीतिक नहीं हैं."

ग्रेटर नोएडा के बुद्ध इंटरनेशनल सर्किट में रविवार को फॉर्मूला वन रेस होनी है. 2011 में इस सर्किट में पहली रेस हुई.

Narain Kartikeyan Formel 1 Indien
एचआरटी चालक भारत के नरेन कार्तिकेयनतस्वीर: AP

15 फरवरी को केरल के तट पर इटली के मासिमिलिआनो लाटोरे और साल्वाटोरे गिरोने ने मछुआरों पर गोलियां चलाईं. नौसैनिकों के मुताबिक मछुआरे चेतावनी के बावजूद तेल टैंकर की तरफ बढ़ रहे थे. हमले में दो मछुआरे मौके पर ही मारे गए. वारदात के बाद दोनों नौसैनिकों को गिरफ्तार कर लिया गया. हालांकि कुछ महीनों बाद उन्हें जमानत मिल गई, लेकिन मुकदमे के खत्म होने तक उन्हें भारत से बाहर जाने की अनुमति नहीं है. केरल सरकार अदालत के बाहर समझौता करने को तैयार नहीं है.

भारतीय उपमहाद्वीप में तेल टैंकरों और कीमती सामान ले जा रहे हैं जहाजों में हथियारबंद सैनिक तैनात रहते हैं. सोमालियाई लुटेरों की डर की वजह से उन्हें तैनात किया जाता है.

ओएसजे/एनआर (एएफपी)

इस विषय पर और जानकारी को स्किप करें

इस विषय पर और जानकारी