बाढ़ के खतरे से बंद हुआ पैरिस का लूव्र म्यूजियम
३ जून २०१६जर्मनी और फ्रांस के कई हिस्से बाढ़ से प्रभावित हैं. पैरिस में सेन नदी के दोनों ओर बैरियर खड़े किए जा रहे हैं ताकि पानी शहर के अंदर ना घुस सके. दुनिया भर में मशहूर लूव्र म्यूजियम को भी शुक्रवार को बंद किया गया है ताकि तहखानों में पड़ी मूर्तियों और कलाकृतियों को सुरक्षित जगह पर पहुंचाया जा सके.
लूव्र के साथ साथ ऑर्से म्यूजियम को भी बंद किया गया है. किसी जमाने में यह पैरिस का एक रेलवे स्टेशन हुआ करता था. आज यहां इम्प्रेशनिस्ट पेंटिंग का दुनिया का सबसे बड़ा संग्रह मौजूद है. म्यूजियम प्रशासन का कहना था कि अगर नदी का स्तर 5.5 मीटर से ज्यादा बढ़ जाता है, तो बेशकीमती पेंटिंग्स को ऊपरी मंजिलों में पहुंचाना जरूरी हो जाएगा. मौसम विभाग के अनुसार शुक्रवार को सेन का स्तर छह मीटर पहुंच सकता है. इससे पहले साल 1910 में यह 8.6 मीटर पहुंचा था. उस समय हजारों लोगों को घर छोड़ कर जाना पड़ा था.
फ्रांस के कई गांव एक दशक से भी ज्यादा समय में पहली बार इस तरह की बाढ़ का सामना कर रहे हैं. 5,000 से अधिक लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा है. वहीं 19,000 घर बिना बिजली के हैं. पर्यावरण मंत्री सेगोलेन रोयाल ने फ्रांस2 टेलीविजन को दिए एक इंटरव्यू में कहा कि अगले कुछ हफ्तों तक हालात सुधरने की उम्मीद नजर नहीं आती, "जिन परिवारों ने अपने घर खो दिए हैं, जिन कंपनियों के मालिकों को धंधे में नुकसान झेलना पड़ रहा है, जो नौकरीपेशा लोग काम पर नहीं जा पा रहे हैं, उन सब के लिए बुरी खबर यह है कि पानी का स्तर बहुत ही धीमी गति से नीचे जाएगा." सरकार का कहना है कि पानी का स्तर कम होने पर ही जान माल के असली नुकसान का हिसाब लगाया जा सकेगा.
फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांसोआ ओलांद ने बुधवार को मंत्रिमंडल की बैठक बुलाई है जिसमें आपात स्थिति घोषित किए जाने पर चर्चा होगी. बैठक में तय होगा कि बाढ़ग्रस्त लोगों को कितना और किस तरह का मुआवजा दिया जाएगा.
वहीं जर्मनी में बाढ़ के चलते 10 लोगों की जान गयी है. इसमें एक ही परिवार की तीन महिलाएं शामिल हैं. जीम्बाख इलाके में पानी भर जाने के कारण मां, बेटी और दादी घर में फंस गईं और उन्हें वक्त रहते बाहर नहीं निकाला जा सका. स्थानीय पुलिस का कहना है कि तीन लापता लोगों की तलाश जारी है. मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले 24 घंटों में फ्रांस और जर्मनी में भारी बरसात जारी रहेगी.
आईबी/वीके (एएफपी, डीपीए)