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'द ग्रेट खली' बने स्पेशल ओलंपिक एम्बैसडर

१६ नवम्बर २००९

वर्ल्ड रेसलिंग एंटरटेनमेंट में भारत का झंडा बुलंद करने वाले दलीप सिंह राणा उर्फ़ 'द ग्रेट खली' शारीरिक और मानसिक रूप से विकलांग बच्चों के लिए होने वाले ओलंपिक खेलों के ब्रैंड एम्बैसडर चुने गए हैं.

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वर्ल्ड रेसलिंग एंटरटेनमेंट ने लोकप्रिय बनायातस्वीर: UNI

स्पेशल ओलंपिक भारत की चेयरमैन मलिका नाडा ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया कि खली एम्बैसडर बनने के लिए तैयार हो गए हैं. मलिका को उम्मीद है कि 'द ग्रेट खली' की उपस्थिति ही विकलांग बच्चों के लिए प्रेरणादायी साबित होगी साथ ही वह दर्शकों के आकर्षण का केंद्र भी बने रहेंगे.

खली हिमाचल प्रदेश के सिरमौर ज़िले में धिरैना गांव के रहने वाले हैं और इन दिनों अपने भाई की शादी में शामिल होने के लिए भारत आए हुए हैं. खली वेटलिफ़्टर रहे हैं प्रोफ़ेशनल रेसलिंग करियर में अपना भाग्य आज़माने से पहले वह पंजाब पुलिस में नौकरी कर रहे थे. उनकी लंबाई 7 फ़ीट 3 इंच है.

वर्ल्ड रेसलिंग एंटरटेनमेंट में खली एक बार हैवीवेट चैंपियन रह चुके हैं और द लॉन्गेस्ट यार्ड और गैट स्मार्ट फ़िल्मों में भी काम कर चुके हैं. खली का कहना है कि अमेरिका और भारत में कभी लोगों ने सोचा भी नहीं था कि भारत से कोई वर्ल्ड रेसलिंग में हिस्सा लेगा लेकिन अब ये बात सच हो गई है और वह इसका पूरी तरह आनंद उठाते हैं.

बच्चों में खली ख़ास तौर पर लोकप्रिय हैं और भारी-भरकम डीलडौल वाले खली को बच्चे हमेशा रेसलिंग रिंग में जीतते देखना चाहते हैं. कुश्ती के रिंग में विपक्षी पहलवानों को 'धूल चटाने वाले' की छवि के बावजूद खली स्वभाव से बेहद विनम्र हैं और अपने प्रशंसकों से मिलने में बेहद ख़ुशी महसूस करते हैं.

वर्ल्ड रेसलिंग एंटरटेनमेंट प्रोफ़ेशनल कुश्ती का अख़ाड़ा है जहां रेसलिंग को अभिनय और थिएटर के साथ जोड़ा जाता है और मसालेदार प्रोडक्ट की तरह उसे दर्शकों के सामने पेश किया जाता है.

रिपोर्ट: एजेंसियां/एस गौड़

संपादन: ए जमाल