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तालिबान ने बंद कराया पोलियो अभियान

१६ जुलाई २०१२

पाकिस्तान में तालिबान के डर से कबायली इलाकों में पोलियो टीकाकरण अभियान को रद्द करना पड़ा है. तालिबान द्वारा लगाई गयी इस रोक से देश में साढ़े तीन लाख बच्चों की जिंदगियों पर असर पड़ रहा है.

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तस्वीर: AP

पाकिस्तानी तालिबान के बड़े विद्रोही नेता हाफिज गुल बहादुर के नेतृत्व में ऐसा किया गया है. गुल के समर्थक अफगानिस्तान में पश्चिमी सेनाओं से लड़ रेह हैं. पाकिस्तानी अधिकारियों का कहना है की तालिबान ने अमेरिका के ड्रोन हमलों के खिलाफ विरोध जताने के लिए टीकाकरण अभियान को रोक दिया है. गौरतलब है कि पाकिस्तान में ओसामा बिन लादेन के ठिकाना का पता लगाने के लिए भी टीकाकरण अभियान की मदद ली गयी थी. हैपेटाईटिस के टीकाकरण से लोगों के आंकड़े जमा किए गए थे. इस काम में डॉक्टर शकील अफरीदी ने सीआईए का साथ दिया था, जिन्हें कबायली कानून के तहत 33 साल की कैद की सजा सुनाई गयी है. तालिबान का कहना है कि इस तरह के अभियानों का मुख्य उद्देश्य जासूसी ही होता है और इसलिए वह इन्हें नहीं चलने देंगे.

पाकिस्तान में सोमवार से देश भर में पोलियो अभियान की शुरुआत हुई. लेकिन उत्तरपूर्वी वजीरिस्तान में अब इसे बिलकुल भी नहीं चलाया जा रहा. अधिकारियों का कहना है कि खैबर जिले में इसी तरह की मुश्किलें आ रही हैं. प्रधानमंत्री सचिवालय में पोलियो निगरानी सेल के लिए जिम्मेदार मजहर निसार ने समाचार एजेंसी एएफपी को बताया, "उत्तर और दक्षिणी वजीरिस्तान और खैबर के बारा जिले में इस अभियान को पूरी तरह से रद्द करना पड़ा है." इन इलाकों में सेना ने कर्फ्यू लगा दिया है. उत्तरी वजीरिस्तान के मुख्य शहर मिरनशाह में सोमवार को कबीले के बुजुर्गों ने इसी विषय पर चर्चा करने के लिए बैठक बुलाई थी. अधिकारियों का कहना है कि कर्फ्यू के चलते बैठक नहीं हो पा रही है.

खैबर जिले में जिला अधिकारी इरफानुलाह वजीर ने एएफपी को बताया कि अभियान का लक्ष्य है दो लाख से अधिक बच्चों तक इन जीवनरक्षक बूंदों को पहुंचना. उन्होंने माना कि बारा और तिराह घाटी में एक लाख से अधिक बच्चों को इनकी जरूरत है, लेकिन अब शायद ये बूंदें उन तक न पहुंच पाएं, "हम सुरक्षा बलों की मदद से उन इलाकों में भी बच्चों तक दवा पहुंचाने की पूरी कोशिश करेंगे."

पिछले हफ्ते स्वास्थ्य अधिकारी फवाद खान ने एएफपी से कहा कि यदि पोलियो अभियान किसी कारण पूरा नहीं हो पाता है तो उससे उत्तर वजीरिस्तान में 1,60,000 और दक्षिण वजीरिस्तान में 80 हजार बच्चों पर असर पड़ेगा. पाकिस्तानी सरकार के आंकड़ों के अनुसार तीन दिन तक चलने वाले इस अभियान में पांच साल की उम्र से कम के करीब साढ़े तीन लाख बच्चों को पोलियो की बूंदे दी जानी थी. इसके लिए 22 टीकाकरण केंद्र भी बनाए गए.

एक रिपोर्ट के अनुसार पाकिस्तान में इस साल पोलियो के सबसे ज्यादा मामले सामने आए हैं. 2010 में 144 मामलों की तुलना में इस साल संख्या 198 तक पहुंच गयी है.

आईबी/एमजी(एएफपी)