जर्मनी में साल का एक दिन गर्ल्स डे. इस मौके पर स्कूल की लड़कियां दफ्तरों और फैक्टरियों में जाती हैं और देखती हैं कि काम कैसे होता है. तकनीकी पेशों में लड़कियों की हिस्सेदारी बहुत कम है. शायद काम देखकर उनकी दिलचस्पी जगे. मकसद लड़कियों को ऐसे कामों के लिए प्रेरित करना है जो अब तक पुरुषों के माने जाते रहे हैं