इटली जाने से बचेंगी अमेंडा
३१ जनवरी २०१४साथी छात्रा की हत्या के मामले में आए फैसले से हतोत्साहित नॉक्स ने कहा, "निश्चित तौर पर मैं अपनी मर्जी से इटली नहीं जाऊंगी. अगर उन्हें मुझे पकड़ना है, तो उन्हें मुझे घसीटना होगा फिर जेल में डालना होगा. और इस दौरान मैं खूब चिल्लाऊंगी." उन्हें साढ़े 28 साल की जेल की सजा हुई है. उन्होंने ये बातें ब्रिटेन के अखबार गार्डियन को फैसला आने से पहले कही थीं.
नॉक्स ने फैसले पर गहरी निराशा जताते हुए कहा है कि वह इतालवी व्यवस्था से खुश नहीं हैं. इटली की अदालत ने उन्हें ब्रिटेन की छात्रा मेरेडिथ केर्शर की हत्या का दोषी माना है. दोनों यूनिवर्सिटी वाले इतालवी शहर पेरुगिया में पढ़ती थीं. नॉक्स ने कहा, "मैं इस फैसले से दुखी और घबराई हुई हूं."
क्या है मामला
ब्रिटिश छात्रा मेरेडिथ केर्शर की हत्या के मामले में बचाव पक्ष के वकील ने नॉक्स के लिए 30 साल और उसके मित्र रफाएल सॉलेसिटो के लिए 26 साल जेल की सजा मांगी थी. नॉक्स के वकील कार्लो डेला वेदोवा ने पूरे विश्वास से कहा था कि अपराधी साबित करने के लिए सबूत काफी नहीं हैं, "आप किसी को इस संभावना पर सजा नहीं दे सकते थे कि उन्होंने शायद हत्या की है."
अभियोजन पक्ष के वकील अलेस्साद्रो सिर्नी ने कहा कि शायद नॉक्स के साथ घर साफ करने के मुद्दे पर हुए उग्र विवाद में केर्शर मारी गईं. उन्होंने कहा कि सॉलेसिटो भी वहां मौजूद था. नॉक्स और सॉलिसिटो शराब और ड्रग्स के असर में थे. सिर्नी ने कहा, "आपको इस दलील पर हंसी आ सकती है लेकिन यह ज्यादा संभव लगता है." डेला वेदोवा ने इस संभावना को हास्यप्रद कहा था. पहले की सुनवाई में हत्या का कारण हिंसक सेक्स गेम बताया गया था.
फैसला सुनने के लिए केर्शर के भाई और बहन दोपहर को पहुंचे. जबकि इटली छोड़ चुकीं नॉक्स सुनवाई के दौरान मौजूद नहीं थीं. वह पहले ही चार साल की जेल काट चुकी हैं. वह अब सिएटेल में रहती हैं.
खत्म नहीं हुआ मुकदमा
21 साल की केर्शर का शरीर दो नवंबर 2007 को अर्धनग्न स्थिति में, चाकूओं से गोदा हुआ पेरुगिया के अपार्टमेंट में मिला. वह यहां नॉक्स और दो अन्य छात्रों के साथ रहती थीं. नॉक्स और सॉलेसिटो को इस घटना के कुछ दिन बाद गिरफ्तार कर लिया गया. उन्हें 2009 में अपराधी करार दिया गया लेकिन बाद में छोड़ दिया गया क्योंकि डीएनए सबूत विश्वसनीय नहीं थे. लेकिन सितंबर, 2013 में फ्लोरेंस के अपील कोर्ट में मुकदमा फिर से शुरू किया गया. हत्या के मामले में एक तीसरे व्यक्ति की सुनवाई अलग से की गई और अपराधी ठहराया गया. उसे 2010 में 30 साल की सजा हुई. सजा दो साल की अपील के बाद कम कर दी गई क्योंकि जज इस नतीजे पर पहुंचे कि यह हत्या उसने अकेले नहीं की.
नॉक्स और उसके बॉयफ्रेंड के वकील अब इस मामले में दोबारा अपील करेंगे. इस सारी प्रक्रिया में एक साल का वक्त लग सकता है. कानून के जानकारों का कहना है कि फिलहाल इटली इस मामले में नॉक्स के प्रत्यर्पण की मांग नहीं करेगा और वह मुकदमे के पूरा होने का इंतजार करेगा. आखिरी फैसला रोम की सुप्रीम कोर्ट कर सकती है.
इस पूरे मसले को लेकर इटली और अमेरिका में कूटनीतिक विवाद भी हो सकता है क्योंकि नॉक्स को इटली भेजने के लिए अमेरिकी विदेश मंत्रालय से मदद लेनी होगी, जो अपने नागरिकों को अधिकतम सुरक्षा का दावा करता है. निर्दोष करार दिए जाने के बाद फिर से मुकदमा शुरू करने के मुद्दे को मंत्रालय मुद्दा बना सकता है. सिएटल के वॉशिंगटन लॉ स्कूल में पढ़ाने वाली पूर्व सरकारी वकील मेरी फैन ने कहा, "इस मामले में जिस तरह कई मोड़ आए हैं, कई अमेरिकी इससे अचंभित हैं."
एएम/एमजे (एपी, एएफपी, डीपीए, रॉयटर्स)