कौन हैं माइक पोम्पोए
अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने रेक्स टिलरसन को हटाकर माइक पोम्पोए को नया अमेरिकी विदेश मंत्री बनाने का एलान किया है. चलिए जानते हैं कौन हैं पोम्पोए.
उत्तर कोरिया पर आक्रामक
अब तक माइक पोम्पोए अमेरिकी खुफिया एजेंसी सीआईए के निदेशक का पद संभाल रहे थे. वह ट्रंप को खुफिया मुद्दों पर बराबर जानकारी देते रहे हैं और वह ट्रंप के बेहद करीबी लोगों में हैं और उत्तर कोरिया के मुद्दे पर काफी आक्रामक माने जाते हैं.
रूस पर नरम
54 वर्षीय पोम्पोए 2016 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में रूसी दखल के मामले को ज्यादा तवज्जो नहीं देते हैं. उनका कहना है कि रूस तो अमेरिकी चुनावों को दशकों से प्रभावित करने की कोशिश करता रहा है. सीआईए के मुख्यालय में उन्होंने रूसी खुफिया एजेंसियों के प्रमुखों से मुलाकातों का बचाव भी किया.
ईरान पर तिरछी नजर
ट्रंप की तरह ही पोम्पोए भी ईरान के कटु आलोचक हैं और 2015 में ईरान के परमाणु कार्यक्रम को सीमित करने के लिए हुई परमाणु डील को खत्म करने की वकालत करते हैं. उनका कहना है कि ईरान मध्य पूर्व में लगातार आक्रामक होता जा रहा है.
नागरिकों की निगरानी
पोम्पोए अमेरिकी लोगों के बारे जानकारी जमा करने के भी समर्थक रहे हैं. 2016 में छपे अपने एक लेख में उन्होंने घरेलू टेलिफोन डाटा के साथ साथ लोगों की वित्तीय और लाइफस्टाइल से जुड़ी जानकारी का ऐसे विशाल डाटाबेस बनाने की बात कही जिसमें किसी की भी जानकारी तलाशी जा सके.
सैन्य पृष्ठभूमि
जनवरी में सीआईए की कमान संभालने से पहले पोम्पोए कंसास से प्रतिनिधि सभा में रिपब्लिकन पार्टी के प्रतिनिधि थे. वह एक रिटायर्ड आर्मी अफसर हैं. उन्होंने न्यूयॉर्क की अमेरिकी मिलिट्री एकेडमी और हार्वर्ड लॉ स्कूल से पढ़ाई की है.
टिलरसन के उत्तराधिकारी
पोम्पोए बतौर अमेरिकी विदेश मंत्री रेक्स टिलरसन की जगह लेंगे जिन्हें पिछले दिनों अचानक ट्रंप ने हटा दिया. बताया जाता है कि रूस, ईरान, उत्तर कोरिया और कतर जैसे कई मुद्दों पर ट्रंप और टिलरसन के बीच मतभेद थे. टिलरसन लगभग एक साल अमेरिका के विदेश मंत्री रहे.