गत्ते के बक्से में सोते हैं बच्चे
मां बाप अपने बच्चों के लिए बहुत शौक से कमरा सजाते हैं लेकिन फिनलैंड में तो नवजात शिशुओं को गत्ते के बक्सों में सुलाया जाता है. जानिए ऐसा क्यों..
ऐसा है बक्सा
देखने में यह बक्सा कुछ कुछ वैसा है जिसमें आप अपने पुराने कपड़े या फाइलें भर कर स्टोर रूम में रख देंगे लेकिन यकीन मानिए इसी बक्से में बच्चों को सुलाया जाता है, वह भी उनकी अच्छी सेहत के लिए.
अनोखा नियम
फिनलैंड की सरकार ने 1930 के दशक में यह नियम बनाया कि गर्भवती महिलाओं को बच्चों के सामान से भरी एक पूरी किट दी जाएगी. इस किट में नवजात शिशु के लिए जरूरी सब सामान मौजूद होता है.
सरकार का उपहार
दरअसल उस जमाने में देश में नवजात शिशुओं की मृत्यु दर बहुत ज्यादा थी. इसी को काबू में लाने के लिए सरकार ने बेबी किट को उपहार के रूप में देने का फैसला किया.
सब एक समान
और आइडिया काम भी आया. बच्चा गरीब परिवार का हो या अमीर, सबको वही सामान, वही कपड़े मिलते. इस तरह माता पिता का बोझ थोड़ा कम हुआ. लेकिन फिर सवाल उठा कि आखिर बक्से का क्या करें.
सस्ता, सुंदर, टिकाऊ
पश्चिमी देशों में अक्सर बच्चों को शुरू से ही अलग बिस्तर में सुलाया जाता है. लेकिन इस तरह के 'क्रिब' खरीदना माता पिता की जेब पर भी भारी पड़ता है. ऐसे में बेबी किट वाले बक्से को ही बिस्तर बना लेने का आइडिया आया.
और सुरक्षित भी
बक्से में नीचे एक पतला सा गद्दा लगा होता है जिस पर बच्चा आराम से सो सकता है. बिस्तर से बच्चे के गिरने का खतरा हो सकता है लेकिन बक्से की ऊंची दीवारें बच्चे को गिरने नहीं देतीं.
बेहतरीन तोहफा
जो चलन सरकार ने कुछ 80 साल पहले चलाया, आज वह देश से बाहर भी फैलने लगा है. कई निजी कंपनियां फिनिश बेबी बॉक्स के नाम से इन्हें बेचने लगी हैं. विज्ञापनों में अक्सर इन्हें मां बाप के लिए एक बेहतरीन तोहफे के रूप में दर्शाया जाता है.
कीमत..
लेकिन जो आपको महज बक्सा लग रहा है, उसकी कीमत भी जान लीजिए. अगर आप फिनलैंड में नहीं रहते हैं और किसी प्राइवेट कंपनी से इंटरनेट में इन्हें ऑर्डर करते हैं, तो एक बक्से के लिए आपको 25 से 50 हजार रुपये तक खर्चने पड़ सकते हैं.
नैपी से कंडोम तक, सब
बच्चों के कपड़े, नैपी, दूध पिलाने की बोतल, मच्छरदानी वगैरह तो है ही, साथ ही माता पिता के इस्तेमाल के लिए कंडोम भी हैं, जिन्हें शायद वो बच्चे की जद्दोजहद में खरीदना भूल सकते हैं.