आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल करते हुए रोबोट और ड्रोन बनाये गये हैं. लेकिन क्या मशीनी दिमाग इंसान को हरा सकता है. देखिये ड्रोन और पायलट का एक रोचक मुकाबला.
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फ्लाइट का टिकट बहुत ही सस्ता मिले. लेकिन विमान में कोई पायलट न हो, उसे कंप्यूटर उड़ाए, तो क्या आप उसमें सवार होंगे? एयरलाइन उद्योग इस सवाल से जूझ रहा है.
इंसान को उड़ाने वाली पर्सनल फ्लाइंग मशीन 2017 के अंत तक बाजार में आ जाएगी. इसे उड़ाने के लिए दो घंटे की ट्रेनिंग की जरूरत पड़ेगी.
दुनिया के कई देशों में ड्रोन रेसिंग एक नए तरह का खेल बन कर उभर रहा है. पायलट अपने क्वाडकॉप्टर तैयार करते हैं, उन पर कैमरा फिट करते हैं और बड़े इनामों के लिए उन्हें पेशेवर रेस में उड़ाते हैं. देखिए..
एक दिन आएगा जब इंसान अपने ड्रोन पर सवार होगा और उड़ान भरता हुआ कहीं भी चला जाएगा. टैक्सी सर्विस कंपनी उबर इस राह में आगे बढ़ चुकी है.