बीसीसीआई को नए स्पॉन्सर की तलाश
२४ मई २०१०बीसीसीआई के सचिव एन श्रीनिवास ने निविदा जारी करते हुए कहा कि स्पॉन्सरशिप के लिए बोली लगाने वाली कंपनियों को बोर्ड की तरफ से निर्धारित मापदंडों और बोली के दस्तावेज में दिए गए नियमों को पूरा करना होगा. बोर्ड ने बिना कोई कारण बताए किसी भी स्तर पर बोली को रद्द करने या उसके नियमों में बदलाव का अधिकार अपने पास ही रखा है.
अभी सहारा ग्रुप के साथ बीसीसीआई की स्पॉन्सरिंग डील है जो अगले महीने खत्म हो रही है. सहारा कई साल से भारतीय क्रिकेट टीम का प्रायोजक रहा है. हाल ही में उसने 1700 करोड़ रुपये में आईपीएल की एक फ्रैंचाइजी खरीदी है. 23 मार्च को आईपीएल की पुणे फ्रैंचाइजी को खरीदने के बाद सहारा ग्रुप के मुखिया सुब्रत राय ने कहा कि सहारा भारतीय टीम की स्पॉन्सरिंग पर फिर से विचार करेगा.
सहारा ने दिसंबर 2009 में 400 करोड़ रुपये देकर चार साल के लिए भारतीय टीम की स्पॉन्सरिंग हासिल की थी. जब बीसीसीआई कोई दूसरा प्रायोजक नहीं तलाश पाई तो सहारा स्पॉन्सरिंग को और छह महीने तक जारी रखने पर सहमति जताई. सहारा ग्रुप भारतीय हॉकी टीम को भी प्रायोजित कर रहा है. ऐसे समझा जाता है कि वह बीसीसीआई और महिला क्रिकेट से खुद को सीमित करने के बारे में गंभीरता से सोच रहा है. सुब्रत राय ने कहा, "हम इस बारे में सोचविचार कर फैसला करेंगे."
रिपोर्टः एजेंसियां/ए कुमार
संपादनः उज्ज्वल भट्टाचार्य