अंतरराष्ट्रीय दिवस पर गानों से खुशी का इजहार
२० मार्च २०१५संयुक्त राष्ट्र ने दुनिया भर के संगठनों और लोगों से शिक्षा और जागरूकता अभियानों के जरिए आज का प्रसन्नता दिवस मनाने की अपील की है. लोग ट्विटर के जरिए अपना गाना नामांकित कर इसमें हिस्सा ले सकते हैं. संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की मून खुद अपने वीडियो के साथ विश्व संस्था की इस पहल को लॉन्च किया. इसका मकसद इस बात को स्वीकार करना है कि संतोष और खुशहाली सिर्फ व्यक्तिगत लक्ष्य नहीं रहने चाहिए, बल्कि उन्हें सरकारी नीतियों का लक्ष्य बनाया जाना चाहिए.
भूटान के पूर्व राजा जिग्मे सिंग्ये वांगचुक ने 1972 में पहली बार सकल राष्ट्रीय प्रसन्नता सूचकांक बनाने का प्रस्ताव दिया था. संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 28 जून 2012 को एक प्रस्ताव पारित कर 20 मार्च को अंतरराष्ट्रीय प्रसन्नता दिवस मनाने का फैसला किया. महासभा ने प्रसन्नता हासिल करने के प्रयासों को मौलिक मानवीय लक्ष्य बताया. प्रस्ताव में कहा गया, "सतत विकास, गरीबी निवारण, खुशी और लोगों की खुशहाली को बढ़ावा देने वाले आर्थिक विकास पर अधिक समावेशी, समतामूलक और संतुलित रवैये की जरूरत को स्वीकार करते हुए महासभा 20 मार्च को अंतरराष्ट्रीय प्रसन्नता दिवस घोषित करती है."
इस बीच दुनिया भर में विकास और समृद्धि के न्यायोचित बंटवारे की समस्याओं के बीच प्रसन्नता और संतोष के आंकड़े जुटाए जा रहे हैं. उन देशों की सूची बनाई जा रही है जहां रहने वाले लोग संतुष्ट या असंतुष्ट हैं और सरकारों पर अपनी जनता को संतुष्ट करने का दायित्व भी है. जहां दोस्तों और परिवार के लोगों को संतुष्ट करना लोगों के लिए मुश्किल हो रहा है वहां राजनीतिज्ञ अपने मतदाताओं को संतुष्ट कैसे करें. रोटरडैम स्थित प्रसन्नता डाटाबेस के कर्मियों का कहना है कि प्रसन्नता की कुंजी सक्रिय जीवन में है तो भूटान विशेषज्ञ कर्मा ऊरा कहते हैं कि अयथार्थवादी उम्मीदें नहीं रखनी चाहिए.