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गांधीजी के खून की कीमत नहीं!

२२ मई २०१३

भारत की स्वतंत्रता के स्तंभकार महात्मा गांधी के खून के नमूने का कोई खरीदार नहीं मिला. लंदन में उनसे जुड़ी चीजों की नीलामी हुई, जिसमें कई और दूसरी चीजें भी थीं. लेकिन खून के नमूने की सही बोली नहीं लगी.

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तस्वीर: AP

नीलामी के इस आयोजन में मोहनदास करमचंद गांधी की दर्जन भर निजी वस्तुओं को रखा गया था. ब्रिटेन की नीलामी संस्था मुलोक ने इंग्लैंड के लडलो शहर में यह नीलामी की. इसमें उनके हाथ की लिखी वसीयत, एक शॉल, अच्छा खासा इस्तेमाल की गई सैंडल का एक जोड़ा और चावल खाने का एक प्याला भी शामिल था. बताया जाता है कि ये चीजें 1917 से 1934 के बीच भारत के उस घर में थीं, जहां गांधीजी रहा करते थे. इस दौरान वह दिल्ली, मुंबई और गुजरात के अपने आश्रम में थे.

प्रयोग में इस्तेमाल की जाने वाली शीशे की दो पट्टियों पर महात्मा गांधी के खून का नमूना भी नीलामी के लिए रखा गया. बताया गया कि खून का यह नमूना 1924 का है, जब गांधीजी के अपेंडिसाइटिस का ऑपरेशन किया गया था. नमूना उनके ऑपरेशन के बाद लिया गया था.

संस्था के प्रवक्ता रिचर्ड वेस्टवुड ब्रुक्स ने बताया कि खून के नमूने के लिए कम से कम 10,000 पाउंड की बोली रखी गई थी लेकिन कोई भी खरीदार यहां तक नहीं पहुंचा. उन्होंने बताया कि मंगलवार को हुई नीलामी में 50 दूसरी चीजें बिकीं, जिनसे करीब 2,87,000 (करीब ढाई करोड़ रुपये) पाउंड की राशि जमा हुई.

एजेए/एमजी (एपी)

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