खाना, जरा संभल कर
१२ दिसम्बर २०१४आपके अंदर जो है, वही बाहर भी नजर आता है. बात यहां खाने की हो रही है. जर्मनी में लोग इस बात पर बहुत ध्यान देते हैं कि खाना उनके शरीर को कैसे प्रभावित करता है. बॉन के एक संग्रहालय में खास प्रदर्शनी चल रही है. इसमें लोगों की खान पान की आदतों पर ध्यान केंद्रित किया गया है. दूसरे विश्व युद्ध के बाद जर्मनी के लोग भुखमरी का शिकार बने. हालत ऐसी थी कि कोई नहीं पूछता था कि खाने में क्या है, बल्कि जो मिल जाए वही काफी था.
हिस्ट्री म्यूजिम बॉन के प्रवक्ता पेटर हॉफमन के मुताबिक, "जर्मनी में दूसरे विश्व युद्ध के बाद राशन की भारी कमी हो गई, लोग भूखे थे. हालत ऐसी हो गई थी कि लोग गांवों में जाकर अपने कपड़ों और गहनों के बदले खाने के लिए कुछ ले आते थे. उस वक्त यही हालत थी."
पकाने के लिए वक्त कहां
लेकिन 1950 के बाद जर्मनी में आर्थिक विकास हुआ. जैसे ही जेब में ज्यादा पैसे आने लगे, जर्मन जनता की मेज पर कई तरह के पकवान सजने लगे. जाहिर है कि ऐसे कई तकनीकी विकास हुए जिनसे जर्मनी में उत्पादन का स्टैंडर्ड बढ़ा. कई खाद्य पदार्थ फैक्ट्रियों में बनने लगे और रेडी टू ईट खाना भी ज्यादा बिकने लगा. इसकी कई वजहें हैं. एक वजह है नौकरी, क्या लोगों के पास खाना बनाने का वक्त है.
मिसाल के तौर पर, पिछले दस साल में जर्मनी में फ्रोजन खाने का उत्पादन 43 फीसदी बढ़ा. आज हर साल 33 लाख टन फ्रोजन फूड बनता है. प्रदर्शनी में रखे इन डब्बों में कुछ ऐसे पकवान हैं जो जर्मन बहुत चाव से खाते हैं. लेकिन फैक्ट्री वाले फ्रोजन फूड्स नुकसान भी करते हैं.
खाने में खतरनाक रसायन
औद्योगिक स्तर पर बने खाद्य पदार्थों में अक्सर प्रिजर्वेटिव यानी खाना ताजा रखने वाले रसायन होते हैं, साथ ही इस खाने में कीटनाशकों के अवशेष और जीन संवर्धित अनाज भी मिलता है. अब लोग ऑर्गैनिक खाने की तरफ रुख कर रहे हैं. इसमें रासायनिक कीटनाशकों का इस्तेमाल नहीं होता.
अब दुनिया भर में ऑर्गैनिक खाना एक फैशन बन गया है. ये सेहत के लिए बहुत फायदेमंद है. ब्राजील से आए कृषि विशेषज्ञ राउल माटियास सेसर बताते हैं कि इस फैशन के क्या फायदे हैं, "अंतरराष्ट्रीय स्तर पर दबाव बढ़ रहा है कि खाद्य उत्पादों को बिना कीटनाशकों के उगाया जाए. इसके लिए ब्राजील में भी बदलाव लाए जा रहे हैं."
इसी वजह से विशेषज्ञ सेसर अब जर्मनी में हैं. वह खोज कर रहे हैं कि जमीन में ऐसे कौन से बैक्टीरिया हैं जो प्राकृतिक खाद बना सकते हैं. ऑर्गेनिक खेती का ट्रेंड बढ़ रहा है. लोग अपने खाद्य पदार्थों के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानने की कोशिश कर रहे हैं. वे चाहते हैं कि वे टमाटर खुद उगाकर बच्चों को खिलाएं. भविष्य में ऐसा ही होगा.
एमजी/ओएसजे