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इतिहास में आजः 31 मार्च

२९ मार्च २०१४

लगता ही नहीं कि उनकी जुदाई उनकी जिंदगी से लंबी हो चुकी है. भारतीय फिल्मों की महान अदाकारा मीना कुमारी आज ही के दिन 1972 में गुजर गईं और उस वक्त उनकी उम्र थी, सिर्फ 39 साल.

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तस्वीर: AFP/Getty Images

पाकीजा रिलीज हुए कुछ हफ्ते ही हुए थे कि मीना कुमारी बुरी तरह बीमार पड़ गईं. उनके लीवर में तकलीफ थी और किस्से हैं कि इसकी वजह जरूरत से ज्यादा शराब थी. फिल्म तो खूब चल निकली. साहिबजां यानि मीना कुमारी और सलीम अहमद खान (राजकुमार) के इश्क के चर्चे हर जुबान पर थे और ट्रेन में गुजरते वक्त तो जेहन में जरूर कौंधता था, "आपके पांव देखे, बहुत हसीन हैं.. उन्हें जमीन पर मत उतारिएगा, मैले हो जाएंगे."

बैजू बावरा, दिल अपना और प्रीत पराई और भाभी की चूड़ियां जैसी दर्जनों फिल्मों की कामयाबी ने मीना कुमारी को बॉलीवुड की ट्रेजडी क्वीन बना दिया. हुस्न पर उनकी अदाकारी भारी पड़ती थी या अदाकारी पर हुस्न, इस पर तो अब भी बहस हो सकती है. लेकिन हुस्न और अदाकारी के बीच उनकी तन्हाई और खामोशी किसी को नहीं दिखी. 15 साल बड़े शादीशुदा कमाल अमरोही पर जब मीना का दिल आया, तो वह सिर्फ 19 की थीं. फिर भी दोनों ने शादी की. कहते हैं कि दोनों की शख्सियत इतनी बुलंद थी कि एडजस्ट करना दूभर हो गया और आठ साल बाद दोनों अलग हो गए. मीना के दिल से कमाल नहीं निकल पाए. फिर प्यार की कमी प्याले से भरने की कोशिश की.

कमाल भी कम परेशान न थे. तलाक हो चुका था पर चाहत नहीं घटी थी. 1964 में दोनों ने फिर शादी कर ली. लेकिन तब तक प्यार में प्याले की गांठ लग चुकी थी. मीना कुमारी नशे के आगोश में ऐसी बह चुकी थीं कि कमाल अमरोही बताते हैं कि "घर के बाथरूम में डिटॉल की शीशी में भी ब्रांडी भरी होती थी". अमरोही ने कई शीशियां हटाईं, मीना को लेकर ख्वाबों की फिल्म पाकीजा पूरी की, भले ही इसमें 16 साल क्यों न लग गए हों. ब्लैक एंड व्हाइट गानों को दोबारा रंगीन में शूट क्यों न किया गया. लेकिन मीना की जिंदगी की रंगत शराब के आस पास ही सिमट कर रह गई.

पाकीजा रिलीज होते ही भारतीय दर्शकों के मन में छा गई. पर 126 मिनट की इस फिल्म की कामयाबी देखने मीना कुमारी 126 दिन भी जिंदा नहीं रह पाईं. उधर "ठारे रहियो ओ बांके यार" पर दुनिया झूम रही थी, इधर मीना कुमारी का सफर 31 मार्च, 1972 को ठहर गया. अगला पड़ाव मुंबई के पास मझगांव का कब्रिस्तान था, जहां अगले दिन माहजबीं बानो यानि मीना कुमारी को लिटा दिया गया.